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पद:
1. पिछले तीन दशकों से आप स्थाई रूप से लन्दन में रहकर ब्रिटेन की प्रशासकीय सेवा में कार्यरत हैं।
2. बी.बी.सी. लन्दन की हिंदी सर्विस के साथ भी आपका संपर्क है।
3. उच्च शिक्षा के पश्चात लगभग एक दशक दरास्सला जानिया, ईस्ट अफ्रीका में शिक्षण कार्य किया।
संस्थान:
उपलब्ध नहीं
शिक्षा:
1. पंजाब विश्वविद्यालय चंडीगढ़ से संस्कृत में प्रथम श्रेणी में एम. ए.
2. यूनिवर्सिटी ग्रांट कमीशन से छात्रवृत्ति प्राप्त करके पुरातन इतिहास एवं संस्कृति पर पीएचडी करने में संलग्न
प्रकाशन:
आपकी कविताएँ, कहानियाँ विभिन्न पत्र-पत्रिकाओं में प्रकाशित: सरिता, सारिका, कादम्बिनी, साप्ताहिक हिन्दुस्तान इत्यादि।
उल्लेखनीय गतिविधियाँ/ उपलब्धियाँ/ प्रतिभागिता:
उपलब्ध नहीं
मान्यता/ पुरस्कार/ सम्मान:
पंजाब शिक्षा-विभाग के तरुण परिषद की ओर से आयोजित कविता, निबंध तथा कहानी-लेखन प्रतियोगिता में आपको पुरस्कृत किया गया।
उल्लेखनीय सूचनाएँ:
1. आप ब्रिटेन मे बसी भारतीय मूल की हिंदी लेखिका हैं।
2. आप श्रृंगार रस की कवयित्री हैं। आपके गीतों में प्रेम एवं श्रृंगार मुखर रूप से दिखाई देते हैं।
3. आपकी भाषा सरल, पठनीय एवं सुरीली होती है।
4. वैसे आपने कुछ छुटपुट कहानियाँ भी लिखी हैं लेकिन मूलत: आप गीतकार हैं और हिंदी साहित्य को कुछ सुन्दर से प्रेमगीत देने की तैयारी में हैं।
5. आपके पिता पंडित आशुराम आर्य वेदों के प्रकांड पंडित थे, जिन्होंने वेदों का उर्दू भाषा में अनुवाद किया तथा तत्कालीन भारत के राष्ट्रपति द्वारा सम्मानित किये गए। अपने घर में अध्ययन चिंतन का माहौल होने के कारण आपको बचपन से ही साहित्य-सृजन में रूचि रही।
6. भारतीय आकाशवाणी से आपकी कवितायेँ प्रसारित होती रही हैं। लन्दन में रहते हुए भी आपका अपनी मातृ-भाषा हिंदी से प्रेम बना हुआ है। नए परिवेश, स्थान, व्यवधान तथा परिस्थितियों के फलस्वरूप पठन-पाठन तथा लेखन में थोड़ा विराम आ गया था परंतु आप ने फिर से कलम उठा कर लिखना आरंभ किया है।
विशेषज्ञता/ प्रवीणता/ रुचि के क्षेत्र:
यू.के., यूरोप, मीडिया, शिक्षण/शिक्षण शास्त्र, साहित्य/सृजनात्मक लेखन United Kingdom, Europe, Media, Education/Pedagogy, Creative Writing
वेब आधारित कड़ियाँ (Links):
http://hi.wikipedia.org/wiki
सूचना-स्रोत:
http://mahavirsharma.blogspot.com/2010/05/blog-post_0 8.html
वेबसाइट/ ब्लॉग:
उपलब्ध नहीं
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