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पद:
1. 1989 – 2004, वरिष्ठ प्राध्यापक, यूनीवर्सिटी आफ सेंट्रल इंग्लेंड, बर्मिंघम, यू.के.
2. 1983 – 1989, वरिष्ठ प्राध्यापक, नानयाँग तकनीकी विश्वविद्यालय, सिंगापुर
3. 1981 – 1983, अध्यापन कार्य, बर्मिंघम विश्वविद्यालय
आप अनेक कार्यक्षेत्रों में कार्यरत थे। आपके पास विस्तृत अनुभव है।
संस्थान:
उपलब्ध नहीं
शिक्षा:
1. पीएचडी, सर्रे विश्वविद्यालय, यू.के., 1980
2. एम.एस.सी., पोर्टसमथ विश्वविद्यालय, यू.के., 1977
3. टेलीविजन सर्टिफिकेट, बैडफोर्ड टेक्निकल कालेज, यू.के., 1972
4. बी टेक, आई.आई.टी., मुद्रास, 1964
5. प्राथमिक एवं माध्यामिक, बहराइच, लखनऊ विश्वविद्यालय
प्रकाशन:
काव्य संग्रह :
1. (2012) क्यों, क्यों और आखिर क्यों, नई दिल्ली : ग्रन्थ अकादमी
2. (2005) लेकिन पहले इंसान बनो, दिल्ली : विचार कविता प्रकाशन
3. (2003) चिंतन बना लेखनी मेरी, दिल्ली : ज्ञान गंगा
4. (1999) मैं अभी मेरा नहीं, दिल्ली : ज्ञान भारती
निबंध संग्रह :
1. (2011) भाषा साहित्य और राष्ट्रीयता, दिल्ली : सस्ता साहित्य मंडल
2. समकालीन प्रवासी साहित्य, प्रकाशनाधीन
वैचारिक संकलन :
1. “आज का प्रसंग” छोटे छोटे उपाख्यानों का संग्रह वाणी प्रकाशन के पास, प्रकाशंधीन।
आपकी अनेक रचनाएँ प्रकाशित हुई हैं और आपने बहुत पुस्तकों, लेखों, कहानियों,निबन्धों,कविताओं का संपादन भी किया है।
उल्लेखनीय गतिविधियाँ/ उपलब्धियाँ/ प्रतिभागिता:
आप सन् 1999 में आयोजित छठे विश्व हिंदी सम्मेलन (सितंबर 14- 19) में कार्यकारिणी समिहित के अध्यक्ष थे। साथ ही आपने अनेक सम्मेलनों तथा कार्यशालाओं में अपनी सक्रिय प्रतिभागिता दी है।
मान्यता/ पुरस्कार/ सम्मान:
1. विश्व हिंदी दिवस के उपलक्ष्य में वर्ष 2012 में भारतीय दूतावास लन्दन द्वारा “हरिवंश राय” हिंदी सम्मान, 19 मार्च 2013।
2. 24 सितंबर 2012 को नवें विश्व हिंदी सम्मेलन, दक्षिण अफ़्रीका में ‘विश्व हिंदी सम्मान’।
3. विमलादेवी न्यास अयोध्या द्वारा विदेशों में हिंदी प्रचार-प्रसार के लिए “कुँवर नारायण अध्ययन केंद्र” में मानद शोध सम्मान, 7 फ़रवरी 2006।
4. आग्रा की महानगर लेखिका मंच द्वारा हिंदी सेवा सम्मान, 2005।
5. मध्य प्रदेश के मुख्य मंत्री बाबू लाल गौड़ द्वारा 11,000 रुपये का तत्काल सम्मान, 2004।
6. नेत्रहीना की संस्था इमर्ज यू.के. द्वारा सम्मान, 2000।
7. चेतना साहित्य परिषद् लखनऊ सम्मान,1999।
8. महत्वपूर्ण समाज सेवा सम्मान बर्मिंघम, 1997।
साथ ही आपको अनेक संस्थागत एवं विशिष्ट सम्मान प्राप्त हुए हैं।
उल्लेखनीय सूचनाएँ:
आप 2004 में विश्वविद्यालय सेवा से निवृत होने पर भारतीय संस्कृति के प्रचार एवं प्रसार में पूर्ण रूप से संलग्न हैं।
विशेषज्ञता/ प्रवीणता/ रुचि के क्षेत्र:
यू.के., यूरोप, शिक्षण/शिक्षण शास्त्र, साहित्य/सृजनात्मक लेखन United Kingdom, Europe, Education/Pedagogy, Creative Writing
वेब आधारित कड़ियाँ (Links):
उपलब्ध नहीं
सूचना-स्रोत:
इ-मेल: Professor Krishna Kumar
वेबसाइट/ ब्लॉग:
उपलब्ध नहीं
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